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नई दिल्ली। कहते है बच्चे की किलकारियों से घर में खुशहाली आ जाती है बच्चों की हंसी के सामने लोग अपने दुख दर्द तक भूल जाते है। लेकिन जब यह मुस्कान घर से कहीं दूर चली जाए तो घऱ में मातम सा छा जाता है। ऐसा ही कुछ हाल ही में हुआ है एक्ट्रेस मौसमी चटर्जी के साथ जब उनकी बेटी पायल मुखर्जी की डायबिटीज से मौत हो गई। अपनी बेटी को अपने ही सामने मौत के आगोश में जाते देख मौसमी काफी बड़े सदमें से जूझ रही है ऐसा यह पहली बार नही हुआ है इससे पहले भी कई सेलेब्स हैं जो अपनी बच्चों की मौत का दर्द झेल चुके हैं। जिन्होंने अपनी आंखों के सामने अपने बच्चों की मौत देखी। आज हम आपको उन्हीे सेलेब्स के बारे में बता रहे है जिन्होनें अपने ही सामने अपने बच्चों को मौत के मुंह में जाते देखा है। और आज भी उन्हे याद करके रोते है।
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जगजीत सिंह(Jagjit Singh)
मीठी, मधुर और महकती-सी आवाज का जादू यदि किसी कलाकार में था तो वो थे जगजीत सिंह । जिनकी गायकी में अजब सा सुकुन देखने को मिलता था। पर इस गयक की में दर्द तब देखने को मिला जब इऩके इकलौते बेटे विवेक सिंह की साल 1990 में एक कार दुर्घटना में मौत हो गई थी। इस हादसे नें जगजीत को इतना झकझोर कर रख दिया था। कि वो 6 महीने तक सदमे में चले गए थे। उन्हें इस हादसे से उबरने में काफी वक्त लगा। और यही हाल जगजीत की पत्नी चित्रा सिंह का भी था अपने 18 साल के बेटे की मौत का सदमा बर्दाश्त नहीं कर पाई थीं। अपने जवान बेटे की मौत का उन पर इतना गहरा असर पड़ा था कि उन्होंने गाना ही छोड़ दिया। 'समवन समव्हेयर' उनका आखिरी एल्बम था, जिसे जगजीत और चित्रा ने एक साथ गाया था।

शेखर सुमन(Shekhar Suman)
शेखर सुमन (Shekhar Suman) की जिंदगी में भी एक वक्त ऐसा आया था जब उनके सामने उनके 11 साल के बेटे आयुष की मौत हो गई थी। जिसमें वे और उनकी वाइफ अलका इतने ज्यादा डिप्रेशन में थे कि अपनी लाइफ तक खत्म करना चाहते थे। शेखर के बड़े बेटे आयुष को एंडोकार्डियल फाइब्रोलास्टोसिस नाम की रेयर हार्ट डिसीज थी, जिसके कारण उसकी 11 साल की उम्र में मौत हो गई थी।

महमूद
मशहूर कॉमेडियन, एक्टर और डायरेक्टर महमूद के बारे में बात करें तो उन्होनें भी अपनी जिंदगी में काफी उतार-चढ़ाव देखे। उनकी 2002 में अमेरिका में निधन हो गया था। खासकर अपने बेटे मैकी अली की मौत ने उन्हें तोड़कर रख दिया था। मैकी की 31 साल की उम्र में कार्डियक अरेस्ट के चलते मौत हो गई थी। उस समय मैकी म्यूजिक इंडस्ट्री में जगह बना रहे थे। वह म्यूजिक एल्बम यारों सब दुआ करो में भी नजर आए थे।

आशा भोसले
आशा जी की बेटी वर्षा भोसले ने 56 साल की उम्र में आत्महत्या कर ली थी। बताया जाता है कि साल 1998 में अपने पति से तलाक के बाद वर्षा डिप्रेशन में आ गई थीं और इसके बाद तीन बार आत्महत्या की कोशिश कर चुकी थीं। इसके बाद 2012 में उनकी कोशिश सफल हो गई और उन्होंने आत्महत्या कर ली। काम के चलते आशा जी जब सिंगापुर में थीं तो वर्षा ने एक बंदूक से गोली मार ली थी और उनकी मौत हो गई थी।

कबीर बेदी
कबीर बेदी के बेटे सिद्धार्थ ने उस वक्त सुसाइड कर लिया था जब वो 26 साल के थे। कबीर ने एक इंटरव्यू अपनी बेटे से जुड़ी बातों को साक्षा करते हुए बताया था कि उन्हें पता था कि बेटा सुसाइड करने वाला है लेकिन लाख कोशिशों के बाद भी वे उसे बचा नहीं पाए। कबीर बेदी ने इंटरव्यू में बताया था- 'मेरे बेटे ने इंफॉर्मेशन टेक्नॉलजी में ऑनर्स किया था। फिर वो मास्टर डिग्री की पढ़ाई करने नॉर्थ कैलिफोर्निया की यूनिवर्सिटी में गया। यहां आकर उसकी लाइफ में सबकुछ चेंज हो गया। पढ़ाई के दौरान पता चला कि वो डिप्रेशन में है। डिप्रेशन बढ़ता गया और आखिरकार ये सिजोफ्रेनिया जैसी गंभीर बीमारी में बदल गया। बेटे का इलाज करवाया लेकिन इस दौरान दी जाने वाली दवाएं उसे उदासी की ओर ले गईं'। उन्होंने बताया था- 'बेटे को हर दिन पॉजीटिव बनाने की कोशिश की लेकिन वक्त के साथ-साथ उसकी बीमारी ने और ज्यादा गंभीर रूप ले लिया। उसने खुद अपनी बीमारी के बारे में सर्च किया और उसे पता चला कि इस बीमारी के गंभीर नतीजे होंगे। एक दिन उसने मुझसे कहा वो सुसाइड करने की सोच रहा है। ये बात सुनकर मैं शॉक्ड रह गया था। मैंने उसे बहुत समझाया लेकिन वो नहीं माना और एक दिन उसने अपनी जिंदगी खत्म कर ली।
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