जिस स्पॉटबॉय के साथ Salman के गार्ड ने किया था दुर्व्यहार, अब उसकी मदद के लिए आगे आए दबंग खान

advertise here
Read Full Article from Here

लेटेस्ट खबरें हिंदी में, अजब - गजब, टेक्नोलॉजी, जरा हटके, वायरल खबर, गैजेट न्यूज़ आदि सब हिंदी में

नई दिल्ली | बॉलीवुड एक्टर सलमान खान (Salman Khan) ने एक बार फिर अपनी दरियादिली दिखाई है। उत्तर प्रदेश के भदोही के निवासी रमाकातं जायसवाल जो मुंबई में फिल्म इंडस्ट्री में एक स्पॉटबॉय (Spotboy Ramakant) के तौर पर काम करते हैं। हाल ही में उन्हें सलमान खान के फाउंडेशन बीइंग ह्यूमन (Salman Khan Being Human foundation) से मदद की उम्मीद मिली है। पिछले कई दिनों से रमाकांत कैंसर से पीड़ित अपनी पत्नी के इलाज के लिए दर-दर भटक रहे (Ramakant Wife cancer patient) थे। लेकिन जब वो सलमान खान के घर पहुंचे थे और उनके साथ पहले दुर्व्यहार किया गया था तब अमर उजाला के संज्ञान में लेने के बाद उनके लिए मदद का हाथ बढ़ाया गया।

रमाकात को बीइंग ह्यूमन की तरफ से फोन गया और मदद का आश्वासन दिया गया (Being Human helped Ramakant) है। बता दें कि लॉकडाउन के चलते रमाकांत को भारी दिक्कतों को सामना करना पड़ा। उनकी पत्नी के इलाज के लिए डॉक्टरों ने 2 लाख रुपए का खर्चा बताया था। जो रमाकात के पास नहीं है क्योंकि वो अपनी पूरी पूंजी पत्नी के इलाज में लगा चुके हैं। लॉकडाउन के चलते शूटिंग बंद होने के कारण वो काम की समस्या से भी जूझ रहे (Ramakant faced financial crises) थे। इसीलिए वो कैंसर से पीड़ित पत्नी को बचाने के लिए लोगों के पास मदद के लिए जा रहे थे।

 

गौरतलब हो कि स्पॉटबॉय रमाकांत जायसवाल (Spotboy Ramakant) मदद के लिए सलमान खान के घर गैलेक्सी अपार्टमेंट (Galaxy Apartment) पहुंचे थे जहां उनकी बिल्डिंग के चौकीदारों ने बेकार ढंग से बात करके उन्हें वहां से भगा दिया था। सलमान खान के यहां जाने से पहले वो फेडरेशन ऑफ वेस्टर्न इंडियन सिने एम्पलॉइड भी गए थे लेकिन उसका मेंबर ना होने के कारण उन्हें वहां से भी निराश लौटना पड़ा। उसके बाद जब वो सलमान के घर बहुत उम्मीद से पहुंचे तो गार्ड्स का इस तरह का रवैया सामने आया था।

हालांकि अमर उजाला की खबर के मुताबिक, रमाकांत के साथ किए गए दुर्व्यवहार के बारे में पता (Salman guard misbehaved with Ramakant) चलते ही सलमान खान के मैनेजर जॉर्डी पटेल ने इस बात पर दुख जताते हुए (Salman Khan manager take action) उनसे बात की थी। रमाकांत ने बताया था कि बीइंग ह्यूमन एनजीओ (Being Human NGO) को उनका नंबर भेज दिया गया है।



from Patrika : India's Leading Hindi News Portal Read Full Article
via Patrika Rss

Click to comment