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राजस्थान के बहुत से कलाकार मुंबई आते हैं, उनके साथ मैंने बहुत काम किया है और मैं बहुत से कलाकारों की मदद करने की कोशिश करता हूं। यह कहना है साउथ के बेहद पॉपुलर स्टार सचिन जोशी का जो राजस्थान के जोधपुर से बिलोंग करते हैं। सचिन जोशी साउथ और बॉलीवुड दोनों इंडस्ट्री में काम कर चुके हैं, लेकिन फिलहाल वह रियल स्टेट के बिजनेस में कदम रखने जा रहे हैं। अपने बिजनेस के सिलसिले में जयपुर आए सचिन ने पत्रिका एंटरटेनमेंट से खास बातचीत की।
राजस्थानी फिल्म इंडस्ट्री बनना बेहद मुश्किल
सचिन जोशी ने राजस्थान में फिल्म इंडस्ट्री बनने को लेकर कहा कि राजस्थान में ज्यादातर मारवाड़ी होने के बावजूद यहां हिंदी भाषा बोली जाती है, लेकिन अन्य स्टेट्स में जैसे गुजरात, पंजाब और साउथ के स्टार या तो ज्यादातर अंग्रेजी में बात करते हैं या अपनी मूल भाषा में। क्योंकि बॉलीवुड पहले ही हिंदी लैंग्वेज पर काम कर रहा है तो ऐसे में राजस्थानी इंडस्ट्री बनना बेहद मुश्किल काम है क्योंकि यहां ज्यादातर लोग हिंदी में डील करते हैं।
बिजनेस के मामले में राजस्थान अव्वल
चाहे राजस्थान में फिल्म इंडस्ट्री नहीं बन सकी हो, लेकिन फिल्मों से बिजनेस के मामले में राजस्थान अव्व्ल है। राजस्थान की लोकेशंस बहुत खूबसूरत हैं और इसी के चलते यहां सालभर में करीब 30 से 40 फिल्मों की शूटिंग होती है। जिसका बेनिफिट यहां के लोगों को मिलता है।
मेरा घर है राजस्थान
राजस्थान मेरा घर है। मुझे पूरा राजस्थान पसंद हैं, लेकिन खासतौर पर मुझे जयपुर, उदयपुर घूमना बहुत पसंद है और मुझे यहां से बहुत कुछ सीखने को मिलता है। यहां हरेक जिले की अपनी-अपनी खासियत है। जोधपुर के मिर्ची बड़े, उदयपुर की मिठाईयां और जयपुर का खाना बहुत पसंद है।
सर्वाइवल स्टोरी पर कर रहे हैं काम
सचिन जोशी का कहना है कि फिलहाल में साउथ की एक सर्वाइवल स्टोरी पर काम कर रहा हूं, जिसकी शूटिंग फरवरी में शुरू होगी और 2021 में रिलीज होगी। उन्होंने बताया कि जैसे बॉलीवुड में मेरे पिछले प्रोजेक्ट 'वीरपन'और 'अमावस' थे मेरा अगला प्रोजेक्ट भी ऐसा ही होगा।
साउथ इंडस्ट्री काफी प्रोफेशनल है
साउथ और बॉलीवुड इंडस्ट्री को लेकर बात करते हुए सचिन ने बताया, साउथ इंडस्ट्री काफी प्रोफेशनल है और हिंदी इंडस्ट्री अपने हिसाब से थोड़ा स्लो काम करती है। फर्क बस इतना है कि हिंदी हमारी नेशनल लैंग्वेज है जिसे नेशनल स्तर देखा जाता है जबकि साउथ एक स्पेसिफिक रीजन में देखी जाती है, लेकिन अब ऐसा कोई फर्क नहीं रहा। जैसे 'बाहुबली' साउथ इंडस्ट्री से बनकर आई और केवल साउथ और बॉलीवुड ही नहीं बल्कि हमारे देश की सबसे बड़ी फिल्म बनी।
साउथ के हिंदी रीमेक से इंडस्ट्री को बड़ा फायदा
सचिन जोशी ने साउथ फिल्मों के हिंदी रीमेक बनने को लेकर कहा, 'इससे इंडस्ट्री को डेफिनेटली बड़ा फायदा होता है। इससे अधिक से अधिक लोगों को काम मिलता है और फिल्में चलती है तो देश को आर्थिक रूप से भी बहुत फायदा होता है।'
पिता के फ्रेंड की वजह से फिल्मों में आया
सचिन जोशी ने इंडस्ट्री में आने को लेकर बातचीत करते हुए बताया कि मैंने छोटी उम्र में एक्टिंग का कोर्स करना शुरू कर दिया था, लेकिन साउथ इंडस्ट्री के एक प्रोड्यूसर जो मेरे पिता के अच्छे दोस्त थे उन्होंने मेरे में दिलचस्पी दिखाई और मैं एक्टिंग के क्ष़ेत्र में आया। उन्होंने ही मेरी पहली फिल्म को प्रोड्यूस किया।
टैलेंट कहीं भी हो छुपता नहीं
रातोंरात सोशल मीडिया सेंसेशन बनी रानू मंडल को लेकर सचिन जोशी ने कहा, 'टैलेंट कहीं भी छुपता नहीं है। रानू ने अपनी जिंदगी में काफी स्ट्रगल किया, उनके पास रहने को घर नहीं था। उनकी आवाज को किसी ने नोटिस किया और सोशल मीडिया पर उनका वीडियो डाला जिसके बाद वह रातोंरात स्टार बन गई। इससे जिंदगी में यही सीखने को मिलता है कि कब आपको कहां मौका मिलेगा इसका कोई पैरामीटर नहीं है। उनसे मैंने एक ही चीज सीखी कि आप मेहनत करते जाओ तो आपको सक्सेस जरूर मिलेगी।'
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